Friday, 19 September 2025
Blue Red Green

ShareThis for Joomla!

बाहरा विश्वविद्यालय भी आया सवालों में

शिमला/शैल। बाहरा विश्वविद्यालय के फिजियोथैरपी विभाग के छः छात्रों ने सोशल मीडिया मंच के माध्यम से अपनी एक शिकायत विधायक विक्रमादित्य सिंह को भेजी है। शिकायत के मुताबिक पिछले कुछ अरसे से अध्यापक उनकी क्लास नही ले रहे हैं। इस संबंध में यह छात्र विश्वविद्यालय के वाईस चान्सलर तक अपनी शिकायत दे चुके हैं। अध्यापक इसलिये क्लास नही ले रहे हैं क्योंकि उन्हे कुछ समय से वेतन नही मिल रहा है। छात्रों का कहना है कि वह नियमित रूप से वेतन फीस विश्वविद्यालय को दे रहे हैं। दूसरी ओर अध्यापक इसलिये नही पढ़ा रहे हैं क्योंकि उन्हें समय पर वेतन नही मिल रहा है। ऐसे में जब छात्रों की परीक्षा सिर पर हैं तब अध्यापक इसी तरीके से विश्वविद्यालय प्रशासन पर अपना दवाब बना सकते हैं।
बाहरा विश्वविद्यालय के छात्रों और अध्यापकों की इस समस्या ने एक बार फिर निजि शिक्षण संस्थानों को लेकर बनाये गये नियामक आयोग की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिये हैं क्योंकि प्राईवेट शिक्षण संस्थानों पर निगरानी रखने के लिये यही सबसे बड़ा मंच है। बाहरा विश्वविद्यालय की जब स्थापना हुई थी तब इसको मिली जम़ीन को लेकर भी सवाल उठे थे। सूत्रों के मुताबिक आज भी विश्वविद्यालय के पास एक बड़ा भूभाग ऐसा है जिसे अभी तक उपयोग में नही लाया गया है। धारा 118 के प्रावधानों पर अमल करते हुए ऐसी ज़मीन को वापिस लिया जा सकता है लेकिन प्रशासन ने इस ओर अभी तक कोई कदम नही उठाया है। सूत्रों के मुताबिक विश्वविद्यालय के संचालक समानान्तर में होटल व्यवसाय में भी आ चुके हैं। ऐसे में आशंका जताई जा रही है कि शायद छात्रों की फीस के पैसे को कहीं दूसरी जगह निवेश किया जा रहा है। अब जब प्रदेश के कुछ निजि विश्वविद्यालयों के खिलाफ फर्जी डिग्रीयां बेचने को लेकर जांच चल रही है तब बाहरा विश्वविद्यालय के छात्रों की शिकायत को हल्के से लेना गलत होगा।

Add comment


Security code
Refresh

Facebook



  Search